विद्यालय प्रबंधन समिति विद्यालय की देखरेख और प्रबंधन से जुड़े कार्यों हेतु विशेष भूमिका निभाती है, जो जन भागीदारी और आपसी सहयोग के सिद्धांत पर कार्य करती है। विद्यालय प्रबंधन समिति के सदस्यों के वार्षिक प्रशिक्षण हेतु जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान देहरादून में मास्टर ट्रेनर्स को प्रशिक्षित किया गया है। मास्टर ट्रेनर्स के प्रशिक्षण के दूसरे फेरे का आज विधिवत समापन हुआ।
जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान देहरादून में आज सामुदायिक सहभागिता के अंतर्गत एस0एम0सी0 तथा एस0एम0डी0 सी0 के सदस्यों के प्रशिक्षण हेतु मास्टर ट्रेनर के प्रशिक्षण का द्वितीय चरण पूरा हुआ। इस प्रशिक्षण में जनपद देहरादून के सहसपुर, डोईवाला, विकासनगर, रायपुर से मास्टर ट्रेनर्स ने प्रशिक्षण लिया।
यह प्रशिक्षण प्राचार्य डायट राकेश चंद्र जुगरान के निर्देशन में सम्पन्न हुआ।मुख्य सन्दर्भदाता के रूप में अरुण थपलियाल व सतेन्द्र सिंह रावत रहे। सहयोगी सन्दर्भदाता समावेशी शिक्षा राज्य समन्वयक अंजली भट्ट द्वारा समावेशित शिक्षा की जानकारी दी गई। बालवाटिका ,एन0 ई0 पी के विषय में डायट प्रवक्ता ड़ा0 विजय रावत ने विस्तार से प्रकाश डाला।सहायक वित्त अधिकारी डी. शर्मा, व संदीप द्वारा वित्त से संबंधित जानकारी दी गई।
प्रशिक्षण के विभिन्न सत्रों में समग्र शिक्षा अभियान ,शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 के मुख्य प्राविधान,बाल अधिकार ,बाल संरक्षण, सामाजिक संपरीक्षा के महत्व, एस0 एम0सी0, एस0 एम0 डी0सी0 के गठन, उद्देश्य भूमिका,प्रशिक्षण की आवश्यकता, परिवेश की जानकारी, बच्चों के स्कूल में नामांकन, ठहराव, पी0एम0 पोषण योजना के संचालन में एस0एम0सी, एस0एम0ड़ी0सी0 की भूमिका, बाल वाटिका,राष्ट्रीय शिक्षा नीति2020,स्वच्छता व बाल स्वास्थ्य,वित्तीय प्रबंधन, बालिका शिक्षा कार्यक्रम की महत्ता, गतिविधियों ,विद्यालय में भौतिक संसाधन, आपदा प्रबंधन, साइबर सुरक्षा, समावेशी शिक्षा ,विद्यालय विकास योजना आदि पर प्रशिक्षण में विशेष फोकस किया गया।
प्रशिक्षण कार्यक्रम में प्राचार्य राकेश जुगराण जी ने कहा कि बच्चों की गुणवत्ता शिक्षा के लिए विभिन्न शैक्षिक कार्यक्रम चल रहे हैं समुदाय को भी इनकी जानकारी होनी चाहिए। आज विद्यालयों में ही भारत का निर्माण हो रहा है। उन्होंने बताया कि प्रशिक्षित मास्टर ट्रेनर्स द्वारा जनपद के एसएमसी सदस्यों को संकुल स्तर पर प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा।
मुख्य शिक्षा अधिकारी प्रदीप कुमार रावत द्वारा भी प्रशिक्षण का अनुश्रवण किया गया व प्रतिभागियों का मार्गदर्शन किया गया। उन्होंने कहा कि हम अपने कर्तव्य, सुंदर व्यक्तित्व के साथ सुंदर समाज की परिकल्पना को साकार कर सकते हैं। समस्त डायट संकाय द्वारा कार्यक्रम संपादित करने में पूर्ण सहयोग दिया गया।
प्रशिक्षण कार्यक्रम समन्वयक व मुख्य सन्दर्भदाता डायट से अरुण थपलियाल द्वारा सभी का आभार व्यक्त किया ।