अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर के अजीम प्रेमजी फाउंडेशन परिसर आमवाला, देहरादून में आयोजित एक समारोह में चित्र एवं कलाकृति प्रदर्शनी तथा नाटकों का मंचन किया गया।
‘ जो करेगा पितृसत्ता का सर कलम, वही रखेगा हमारी दहलीज पर कदम’ इस संकल्प के साथ प्रसिद्ध रंगकर्मी अभिषेक मैंदोला द्वारा लिखित व निर्देशित नाटक ‘एक लड़की की कहानी’ का मंचन आज अज़ीम प्रेमजी फाउंडेशन के प्रांगण में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर आगाज यूथ क्लब के युवा रंगकर्मियों द्वारा किया गया। इस अवसर पर विद्यासागर नौटियाल की कहानी ‘सोना’ का नाट्य मंचन भी हुआ।
अभिषेक मैन्दोला द्वारा रचित नाटक ‘एक लड़की की कहानी’ का महत्वपूर्ण पक्ष यह है कि लड़के और लड़कियों की कुछ भूमिकाएँ समाज में तय कर दी गयी हैं जिसमें लड़कियों को लड़कों की अपेक्षा हर रूप मे कम आँका गया है,पर एक बेहतर समाज के निर्माण में दोनों की ही महत्वपूर्ण भूमिका है। समाज की आधी आबादी को उनका पूरा हक और सम्मान दिलाने की आवाज उठाने की दृष्टि से यह नाटक पूर्णत: सफल रहा।
विद्यासागर नौटियाल की चर्चित कहानी ‘सोना’ एक ऐसी कहानी है जिसमें इस पक्ष को उभारा गया है कि एक लड़की अपने परिवार, आसपास समाज के लोगों की अपेक्षाओं के अनुरूप अपने व्यक्तित्व को ढालती जाती है और अंत में जिस अनुभव को वह एक सुखद सामंजस्य मान बैठी थी वही उसके लिए एक बंधन, एक घुटन का काम कर रहे होते हैं। इस कहानी पर आधारित नाटक ने दर्शकों को यह सोचने पर मजबूर कर दिया कि पितृसत्तात्मक समाज में महिलाओं को धन और वैभव का प्रदर्शन करने का माध्यम माना जाता है, और उनकी व्यक्तिगत आकांक्षाओं की अनदेखी कर दी जाती है।
दोनों ही नाटकों के मंचन में अपने शानदार अभिनय से आगाज यूथ क्लब के रंगकर्मियों उपासना, प्रेरणा, मेघा, संजना, सुधीर, अंजु, आकाश, विशु, भैरवी, समीर, अभीरी, अभिनव और हिमांशु ने दर्शकों का मन मोह लिया।
इस अवसर पर अज़ीम प्रेमजी फाउंडेशन परिसर में एक पेंटिंग और पोस्टर प्रदर्शनी का भी आयोजन किया गया। प्रदर्शनी में देहरादून के कलाकारों रवि शर्मा, वंदिता, मुक्ता जोशी, माधवी ठाकुर, मेघा कथूरिया, समीर कुमार, भैरवी, अंजली ठाकुर, उपासना वैष्णव, अंजना सिंह, अनीता सिद्दीकी, विदुषी, स्वाति पंत और ओजस्वी ने अपनी कलाकृतियों के माध्यम से महिलाओं के जीवन और भावों को प्रदर्शित किया।
कार्यक्रम में उपस्थित राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष कुसुम कंडवाल ने कहा कि जेंडर बराबरी की बात आज बहुत जरूरी है। उन्होने उपस्थित सभी लोगों को महिलाओं का सम्मान करने और उन्हें बराबरी के अवसर देने की शपथ भी दिलाई।
इस अवसर पर देहरादून के मुख्य शिक्षा अधिकारी प्रदीप कुमार रावत ने अपने संबोधन में कहा कि समाज को सही दिशा देने के लिए इस प्रकार के कार्यक्रम को आयोजित किया जाना बहुत जरूरी है। इसके लिए उन्होंने अजीम प्रेमजी फाउंडेशन तथा सहयोगी शिक्षक शिक्षिकाओं को धन्यवाद भी दिया।
इस अवसर पर शिक्षिका सुषमा नेगी, मनीषा रावत, कुसुमलता और संगीता जोशी ने अपनी कविताओं का पाठ भी किया।
कार्यक्रम का संचालन नितेश खंतवाल और प्रिया जायसवाल ने किया।
इस अवसर पर डायट प्राचार्य राकेश जुगरान एससीईआरटी से डा.मनोज कुमार शुक्ला, सुनील भट्ट,गोपाल घुगत्याल, सोहन सिंह,रमेश चंद्र बडोनी, प्रदीप बहुगुणा,प्रतिभा जोशी सहित शहर के कई शिक्षक व नागरिक शामिल हुए।
वाह।
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